प्रदेश के करीब तीन लाख कर्मचारियों की महंगाई भत्ते (डीए) की मुराद पूरी नहीं हो पाई है। हालांकि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी करीब डेढ़ लाख कर्मचारियों को दीपावली बोनस की सौगात दे चुके हैं, लेकिन अभी उन्होंने डीए पर फैसला नहीं लिया है। हालांकि कर्मचारियों ने दिवाली से पहले डीए मिलने की अब भी उम्मीद नहीं छोड़ी है। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अरुण पांडेय का कहना है कि सभी कर्मचारी दिवाली से पहले डीए मिलने की उम्मीद कर रहे हैं। उनकी उम्मीद खत्म नहीं हुई है। हालांकि डीए जारी न होने से कर्मचारियों में थोड़ी मायूसी जरूर है। प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक में कर्मचारियों को चार फीसदी डीए और दिवाली बोनस पर सहमति बन गई थी और इस पर मुख्यमंत्री को फैसला लेने के लिए अधिकृत किया गया था। मुख्यमंत्री ने बोनस को तो मंजूरी दे दी, लेकिन अभी डीए को लेकर उन्होंने कोई निर्णय नहीं लिया है। वित्त विभाग के सूत्रों के मुताबिक, डीए का प्रस्ताव भी अपर मुख्य सचिव वित्त के माध्यम से मुख्यमंत्री को अनुमोदन के लिए भेज दिया गया है। मुख्यमंत्री प्रस्ताव पर कभी भी निर्णय ले सकते हैं। चार फीसदी डीए में बढ़ोतरी से राजकोष पर प्रतिमाह 48 करोड़ रुपये के खर्च का अनुमान लगाया गया है।
बोनस तो मिला, डीए की कामना अधूरी, सीएम धामी के फैसले पर लगी करीब तीन लाख कर्मचारियों की नजर
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