श्री जयराम आश्रम अन्नक्षेत्र में गोवर्धन पूजन धूमधाम से मनाया गया। श्रीकृष्ण भगवान को 56 भोग लगाए। साथ ही विशेष आरती कर देश प्रदेश की उन्नति की कामना की गई। बुधवार को जयराम आश्रम में आयोजित कार्यक्रम में श्री कृष्ण के भजनों की धूम रही। भक्तों ने श्री कृष्ण के भजनों की श्रृंखलाबद्ध प्रस्तुति देकर श्रद्धालुओं को आनंदित कर दिया। आश्रम के अध्यक्ष ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी ने विधिविधान के साथ भगवान कृष्ण की पूजा अर्चना कर उन्हें विभिन्न प्रकार के पकवानों का भोग लगाया। ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी ने कहा कि सनातन धर्म के लोगों के लिए गोवर्धन पूजा महत्वपूर्ण त्योहार में से एक है। इसमें गाय माता की पूजा की जाती है। साथ ही कई अन्य जगहों पर यह पूजा परिवार की सुख-समृद्धि, अच्छी सेहत और लंबी उम्र की कामना के लिए भी की जाती है। कार्यक्रम में वित्त एवं विधायी मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने शिरकत करते हुए क्षेत्र वासियों को गोवर्धन पूजा की शुभकामनाएं दी।
प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि गोवर्धन पूजा को अन्नकूट पर्व भी कहा जाता है। गोवर्धन के दिन पूजा में लोग अपने घरों में कान्हा का अच्छे से साज-श्रृंगार करके शुभ मुहूर्त देखकर उनकी पूजा-आराधना करते हैं। मान्यता है कि देवराज इंद्र का घंमड़ चूर करने के लिए भगवान श्रीकृष्ण ने गोवर्धन पर्वत को अपनी कनिष्ठका में धारण कर गोकुल वासियों की रक्षा की थी। तब से गोकुल वासी गोवर्धन पर्वत की पूजा करते हैं। इस मौके पर भरत मंदिर के महंत वत्सल प्रपन्नाचार्य, हर्ष वर्धन शर्मा, वरुण शर्मा, कांग्रेस प्रदेश संगठन मंत्री विजय सारस्वत, कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष राजपाल खरोला, पालिकाध्यक्ष दीप शर्मा, जगमोहन सकलानी, संदीप गुप्ता, संजय व्यास, राजकुमार अग्रवाल, श्रवण जैन, प्रदीप शर्मा आदि उपस्थित रहे। उधर मुनि की रेती शीशमझाड़ी स्थित ईश्वर आश्रम में अन्नकूट पर्व धूमधाम के साथ मनाया गया। आश्रमाध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी ईश्वरदास महाराज ने आश्रम परिसर में कृष्ण मंदिर में विधिविधान के साथ पूजा अर्चना की। उन्होंने भक्तों के साथ मिलकर कृष्ण भगवान को 56 व्यंजनों का भोग लगाया। कार्यक्रम में स्थानीय लोगों और संत महात्माओं ने प्रतिभाग कर प्रसाद ग्रहण किया।
अन्नकूट पर भगवान श्रीकृष्ण को लगाए 56 भोग
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