राज्य सरकार ने वर्ष 2025 तक ऊर्जा जरूरतों के आकलन की जिम्मेदारी अमेरिकी संस्था मैकेंजी को जिम्मेदारी सौंपी है। संस्था सभी पहलुओं पर बिजली की आवश्यकताओं को देखते हुए सरकार को रिपोर्ट देगी। सरकार प्रदेश को 2025 तक श्रेष्ठ राज्य बनाने के लिए प्रयासरत है। ऊर्जा भी इसका अहम हिस्सा है क्योंकि जल विद्युत परियोजनाओं से अपेक्षाकृत बिजली नहीं मिल पा रही है। सरकार आज भी ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए केंद्र पर ही निर्भर रहना पड़ता है। सरकार ने तय किया है कि राज्य को श्रेष्ठ बनाने के लिए 2025 तक की ऊर्जा जरूरतों को भी पूरा करने की आवश्यकता है। लिहाजा, हर क्षेत्र में बिजली की कुल जरूरत का आकलन करने की जिम्मेदारी मैकेंजी को दी गई है। संस्था यह भी सुझाएगी कि किस तरह से ऊर्जा जरूरतों को पूरा किया जा सकता है।
विभाग भी देंगे खपत, बचत की जानकारी
सरकार ने यह भी तय किया है कि सभी विभाग बताएंगे कि वह आने वाले समय में कितनी बिजली खपत होगी और कितनी बिजली बचाएंगे। बिजली बचाने के लिए क्या उपाय किए जा सकते हैं। इसकी कसरत भी शुरू कर दी गई है। हितधारकों के साथ एक बैठक हो भी चुकी है। सरकार का फोकस है कि विभागों में सौर ऊर्जा जैसे विकल्प तैयार किए जाएं, ताकि वह अपनी बिजली खुद पैदा करें और खुद इस्तेमाल करें।
अमेरिकी संस्था बताएगी, उत्तराखंड को कितनी बिजली की जरूरत, सरकार को देगी रिपोर्ट
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