प्रदेश में गर्मी बढ़ने के साथ ही बिजली संकट गहरा गया है। बुधवार को सबसे ज्यादा कटौती हो सकती है। यूपीसीएल को 15 मिलियन यूनिट की जरूरत थी, जिसमें से बमुश्किल पांच मिलियन यूनिट ही खरीदी जा सकी। मंगलवार को प्रदेश में बिजली को लेकर हाहाकार शुरू हो गया। मंगलवार को ग्रामीण क्षेत्रों में जहां तीन से चार घंटे कटौती हुई तो वहीं फर्नेस और उद्योगों को भी चार से पांच घंटे तक की कटौती का सामना करना पड़ा। बुधवार को यह संकट और बढ़ने वाला है।
कुल डिमांड फिर 44 मिलियन यूनिट के आसपास पहुंच चुकी है। यूपीसीएल को बाजार से 15 मिलियन यूनिट बिजली की जरूरत है, जिसमें से खबर लिखे जाने तक केवल पांच मिलियन यूनिट ही मिल पाई थी। यह बिजली भी औसत 11.44 रुपये प्रति यूनिट के दाम पर मिल रही है। माना जा रहा है कि बुधवार के जहां ग्रामीण क्षेत्रों में कटौती होगी तो वहीं छोटे कस्बों में भी काफी कटौती हो सकती है। हालांकि यूपीसीएल के एसई कॉमर्शियल गौरव शर्मा का कहना है कि बिजली का इंतजाम किया जा रहा है।
प्रदेश में गहराया बिजली संकट, आज सबसे ज्यादा कटौती, ऊर्जा के इंतजाम में जुटी सरकार
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