बेरोजगार संघ के प्रतिनिधिमंडल ने आज शनिवार सुबह सीएम पुष्कर सिंह धामी से वार्ता की। सीएम ने बताया कि वार्ता सकारात्मक रही, लेकिन दूसरी तरफ राजधानी देहरादून में युवाओं के साथ ही कांग्रेस का भी प्रदर्शन जोर-शोर से जारी है। अपने नेताओं की रिहाई की मांग को लेकर 30 से 35 युवा शहीद स्मारक पर धरने पर बैठे हैं। युवाओं के हंगामे को देखते हुए शहीद स्मारक के बाहर भारी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात की गई है। वहीं शहीद स्मारक पर युवाओं के आंदोलन को समर्थन देने जा रहे पूर्व सीएम हरीश रावत को पुलिस ने रोक दिया। इससे कांग्रेसियों ने हंगामा शुरू कर दिया। पुलिस द्वारा कई कांग्रेसियों को गिरफ्तार किया गया। पुलिस मुख्यालय कूच करने जा रहे कांग्रेसियों को पुलिस द्वारा ग्लोब चौक में रोका गया। काफी घंटे तक ग्लोब चौक में रोकने के बाद कार्यकर्ता प्रदर्शन समाप्त कर कांग्रेस भवन जाते वक्त पुलिस को चकमा देकर एश्ले हॉल चौक से परेड ग्राउंड की ओर भागने लगे, जिसके बाद पुलिस ने परेड ग्राउंड के समीप कार्यकर्ताओं को रोका।
राज्य आंदोलनकारियो ने शहीद स्थल पहुंचकर युवाओं से कहा कि आंदोलकारी उनके साथ हैं लेकिन शहीद स्थल का परिसर खाली करें। आंदोलनकारी युवाओं को समझाते रहे, लेकिन सफल नहीं हुए। शहीद स्थल से मिलने जा रहे मुख्यमंत्री हरीश रावत को पुलिस द्वारा कांग्रेस भवन के बाहर चौक पर रोका गया। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत का कहना है कि या तो उन्हें शहीद स्थल बेरोजगारों से मिलने दिया जाए या गिरफ्तार किया जाए। वहीं परीक्षा में शामिल होने वाले छह युवाओं की जमानत मंजूर कर दी गई है। जबकि बॉबी पंवार समेत सात की जमानत पर अब सोमवार को होगी सुनवाई। बार एसोसिएशन के सचिव अनिल शर्मा ने पुलिस और प्रशासन से सोमवार तक कोर्ट कैंपस खाली करवाएं जाने की अपील की। पटवारी लेखपाल भर्ती का पेपर लीक होने के बाद लोक सेवा आयोग ने परीक्षा रद्द कर दी थीं। अब दोबारा से भर्ती परीक्षा आयोजित की जा रही है। लेकिन इस बार आयोग ने परीक्षा में गड़बड़ी रोकने के लिए पुख्ता इंतजाम किए हैं। परीक्षा केंद्रों पर विशेष चेकिंग की जाएगी। उधर, परीक्षा देने के लिए अभ्यर्थी केंद्रों के लिए शनिवार को रवाना हो गए।
वहीं आंदोलनकारी बेरोजगार युवाओं पर पुलिस लाठीचार्ज के विरोध और उनकी मांगों के समर्थन में कांग्रेस का प्रदर्शन दूसरे दिन भी जारी रहा। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने पुलिस को खूब छकाया। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा, पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत और उप नेता प्रतिपक्ष भुवन कापड़ी के नेतृत्व में कांग्रेस भवन से कार्यकर्ताओं ने पुलिस मुख्यालय का घेराव करने के लिए रूख किया। इस बीच पुलिस ने सेंट जोजेफ तिराहे से आगे बैरिकेडिंग लगाकर कार्यकर्ताओं को रोक लिया। यहां कार्यकर्ताओं ने सरकार और पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी कर प्रदर्शन किया। इसके बाद पूर्व सीएम हरीश रावत और अध्यक्ष करन माहरा कार्यकर्ताओं के साथ कचहरी स्थित शहीद स्मारक के ओर जाने लगे तो पुलिस ने उन्हें एस्लेहॉल चौक पर रोक दिया। देर तक पुलिस ने कांग्रेस नेताओं को आगे नहीं बढ़ने दिया तो चौक पर जाम लग गया। तीखी नोकझोक के बाद पुलिस कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर पुलिस लाइन ले गई, जहां देर शाम उन्हें छोड़ दिया गया। इस बीच हरीश रावत ने कचहरी में धरने पर बैठे छात्रों से वीडियो कॉलिंग के माध्यम से बातचीत करते हुए उनके आंदोलन को समर्थन दिया। विधानसभा में उपनेता प्रतिपक्ष भुवन कापड़ी ने कहा कि सरकार को बेरोजगारों की बातों को सुनना चाहिए न कि उनका दमन करना चाहिए। विधायक हरीश धामी ने कहा कि अलग राज्य की लड़ाई इसलिए लड़ी गई थी, ताकि यहां के युवाओं को रोजगार मिल सके। सरकार को तानाशाही रवैया छोड़कर विपक्ष की सीबीआई जांच की मांग को तुरंत मान लेना चाहिए।
युवाओं का आक्रोश नहीं थमा, साथियों की जमानत का इंतजार, हरीश रावत को पुलिस ने मिलने जाने से रोका
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