फतेहपुर रेंज में 4 लोगों को अपना शिकार बना चुके टाइगर का अब तक कोई पता नहीं चल पा रहा है। अब तक 40 कैमरों की मदद से टाइगर की तलाश की जा रही थी। लेकिन सफलता नहीं मिलने पर विभाग ने दमुवाढूंगा क्षेत्र में 10 कैमरे और लगा दिए हैं। अब 50 कैमरों की मदद से टाइगर की तलाश की जा रही है। साथ ही वन विभाग ने टाइगर की खोज के लिए ड्रोन की व्यवस्था कर ली है। एक्सपर्ट के आते ही दो दिन के भीतर ड्रोन से टाइगर की खोज शुरू कर दी जाएगी।
उल्लेखनीय है कि फतेहपुर रेंज में हमलावर टाइगर ने आतंक मचा रखा है। वह 12 दिसंबर से लेकर 21 फरवरी तक चार लोगों को अपना शिकार बना चुका है। हाल ही में उसने पनियाली क्षेत्र में आबादी के सवा दो किलोमीटर अंदर चारा लेने गई महिला को अपना शिकार बनाया था। इसके बाद से ही वन विभाग की टीम टाइगर को पकड़ने के लिए जुटी हुई है। वर्तमान में वन विभाग की तीन टीमें टाइगर की खोज में लगी हुई हैं। इस टीम में दो डाक्टरों व एक डब्लूआईआई के सदस्य समेत 25 लोग शामिल हैं। वन क्षेत्राधिकारी केएल आर्य ने बताया कि शुक्रवार को टाइगर को पकड़ने के लिए दमुवाढूंगा क्षेत्र में 10 और कैमरे लगाए गए। अबतक क्षेत्र में टाइगर की खोज के लिए 50 कैमरे लगाए जा चुके हैं। लेकिन पिछले चार दिनों में टाइगर की कोई लोकेशन नहीं मिल पाई है। जबकि विगत दिवस क्षेत्र में कैमरे में एक लैपर्ड को ट्रैप किया गया। उन्होंने बताया कि टाइगर को पकड़ने के लिए अब ड्रोन की मदद ली जाएगी। जिसके लिए ड्रोन की व्यवस्था कर ली गई है। साथ ही ड्रोन को संचालित करने के लिए विभाग में तैनात दो एक्सपर्ट को बुलाया जा रहा है। एक्सपर्ट के आते ही दो दिन के भीतर ड्रोन से टाइगर की खोज शुरू कर दी जाएगी। उन्होंने बताया कि टाइगर को आदमखोर घोषित करने के लिए डीएफओ के माध्यम से चीफ वाइल्ड लाइफ वार्डन से अनुमति मांगी गई है। वर्तमान में उसे ट्रैंकुलाइज कर पकड़ने के प्रयास किए जा रहे हैं।
..अब ड्रोन से होगी फतेहपुर रेंज में हमलावर बाघ की खोज
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