रुद्रपुर। न्यूनतम वेतन, कर्मचारी का दर्जा व सेवानिवृत्त होने पर सभी आशाओं को पेंशन दिए जाने समेत छह सूत्री मांगों के लिए आशा कार्यकर्ताओं ने बृहस्पतिवार को कलक्ट्रेट में धरना-प्रदर्शन किया। बाद में उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन व आशा फेसिलिटेटर संगठन के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन एसडीएम प्रत्यूष सिंह को सौंपा।
आशाओं ने बताया कि बीते वर्ष खटीमा में मुख्यमंत्री ने मासिक मानदेय नियत करने का आश्वासन दिया था लेकिन आजतक मांगें पूरी नहीं हुई हैं। कहा कि स्वास्थ्य विभाग की नियमित कर्मचारी न होते हुए भी आशा कार्यकर्ता विभाग की रीढ़ बन चुकी हैं। कोरोना काल के भत्ते का अभी तक भुगतान नहीं हो पाया है जबकि आशाओं से कोरोना ड्यूटी का कार्य लगातार कराया जा रहा है। इसके साथ ही संजीवनी एप डाउनलोड कर रोज काम अपलोड करने के निर्देश दिए जा रहे हैं। इसके लिए न तो आशाओं को स्मार्ट फोन दिया गया है और न ही इंटरनेट पैक की सुविधा दी जा रही है उन्होंने संजीवनी एप चलाने के लिए आशाओं को बाध्य नहीं करने की मांग की। वहां उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन की जिलाध्यक्ष ममता पानू, सचिव कुलविंदर कौर, महामंत्री कल्पना मिस्त्री, नेहा शर्मा, पूजा रानी, अनीता आर्य, प्रेमा थापा, प्रिया कश्यप, दीपा बोरा, गीता पंत, सोनिया हल्दार आदि थे।
बकाया भत्ते की मांग के लिए कलक्ट्रेट पर आशाओं का प्रदर्शन
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