60 साल बीत जाने के बाद भी वर्ष 1962 में बना मतदान का रिकॉर्ड देहरादून की जनता नहीं तोड़ पाई। 1962 के विधानसभा चुनाव में देहरादून में रिकॉर्ड 69.11 फीसदी मतदान हुआ था। इसके बाद ऐसा मौका कभी नहीं आया कि दून की जनता इस रिकॉर्ड को छू भी पाई है। राज्य बनने के बाद 63.84 फीसदी से अधिक वोटिंग किसी भी सीट पर नहीं हुई।70 साल पहले 1952 में हुए विधानसभा चुनाव में 49.80 फीसदी हुआ था। 1957 में अस्तित्व में आई देहरादून सीट में 56.39 वोटिंग हुई थी। वर्ष 1962 में 69.11, वर्ष 1967 में 65.65, 1969 में 62.90, 1974 में 65.27 मतदान हुआ था। वर्ष 1962 में वोटिंग प्रतिशत अधिक होने का कारण यह भी माना जाता है कि उस समय देहरादून शहर की सीट में देहात के कई इलाकें भी शामिल थे। जिस कारण वोटिंग प्रतिशत अधिक रहा था। 1962 में देहरादून और मसूरी दो ही जिले में सीट थी। वर्ष 1974 में देहरादून और मसूरी से कुछ हिस्सों में हुए परिसीमन के बाद अलग कर चकराता सीट बनाई गई थी। 1962 के बाद देहरादून की सीट पर 69.11 प्रतिशत से अधिक मतदान नहीं हुआ, हालांकि देहरादून की विकासनगर सीट पर लगातार तीन बार से 70 फीसदी से अधिक मतदान हो रहा है। जबकि चकराता में 2012 और 2017 में 70 फीसदी से अधिक मतदान हुआ था।