मसूरी के सुनील हत्याकांड की जांच एसटीएफ को ट्रांसफर कर दी गई है। एसटीएफ इस मामले में सात संदिग्धों के लाई डिटेक्टर टेस्ट कराने की तैयारी कर रही है। संदिग्धों की अनुमति लेने के बाद कोर्ट में अर्जी दी जाएगी। बता दें कि हत्या के शक में जिला पुलिस ने भी इनसे कई दौर की पूछताछ की है। मगर, सात महीनों बाद भी हत्याकांड का खुलासा नहीं हो सका है। कालसी के लखवाड़ खत निवासी सुनील मसूरी के पास ढाबा चलाते थे। वह 22 फरवरी को अचानक लापता हो गए। परिजनों से जब संपर्क नहीं हुआ तो उन्होंने पुलिस से शिकायत की। 24 फरवरी को जार्ज एवरेस्ट के पास जंगल में उनका शव बरामद हुआ था।
गला रेतकर सुनील की हत्या की गई थी। पुलिस ने हत्या का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की। इसके बाद कई दौर की पूछताछ की गई। इस मामले में कई संगठनों ने प्रदर्शन भी किए। हड़ताल और धरना देने की चेतावनी भी दी गई। बावजूद इसके अब तक खुलासा नहीं हो पाया है। पिछले दिनों पुलिस मुख्यालय ने इस मामले की जांच एसटीएफ को ट्रांसफर कर दी। एसटीएफ के एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि हत्याकांड के खुलासे के लिए टीमों का गठन कर दिया गया है। अभी तक जिला पुलिस ने जिन लोगों से पूछताछ की है, उनका ब्योरा भी लिया गया है। इस मामले में जो संदिग्ध हैं, उनका लाई डिटेक्टर टेस्ट भी कराने की तैयारी की जा रही है। मगर, इससे पहले उनकी अनुमति की आवश्यकता होती है। इसके बाद टेस्ट के लिए कोर्ट में अर्जी दी जाएगी। वहां से अनुमति मिलने के बाद नियमानुसार टेस्ट कराया जाएगा।
मसूरी का सुनील हत्याकांड: सात संदिग्धों का लाई डिटेक्टर टेस्ट कराएगी एसटीएफ
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